मंत्री सुनील शर्मा, एमलसी नरेंद्र कश्यप, विधायक लोनी व मुरादनगर की बार सदस्यता की गई निरस्त
जिला जज के कोर्ट रूम में लाठी चार्ज किए जाने के मामले में वकीलों को सहयोग नहीं करने पर बार ने उठाया सख्त कदम
-बार एसोसिएशन के होने वाले वार्षिक चुनाव में मतदान के अधिकार से भी माननीयों को किया वंचित
–आज 22 जिलों के बार एसोसिएसन के साथ चर्चा कर बनाएंगे आंदोलन की रणनीति
-लाठीचार्ज किए जाने के विरोध में वकीलोें की बेमियादी हड़ताल 31वें दिन भी जारी
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गाजियाबाद। गत 29 अक्तूबर को जिला जज के कोर्ट रूम में नोक झोंक के बाद निहत्थे वकीलों पर लाठी चार्ज किए जाने को लेकर वकीलों की अनिश्चितकालीन कलमबंद हड़ताल बृहस्पतिवार को भी जारी रही।
गत चार नवंबर से चल रहे आंदोलन को लेकर बार एसोसिएसन ने गठित आंदोलन संघर्ष समिति के साथ बैठक में कई मुद्दोें पर चर्चा की गई। बृहस्पतिवार को भी धरना स्थल पर 11 सदस्य क्रमिक अनशन पर रहे। कई अधिवक्ताओं ने धरने को संबोधित किया और पुलिस-प्रशाशन के साथ ही जिला जज के खिलाफ गुस्से का इजहार किया। कहा कि जब मांगें नहीं मानी जाएगी, आंदोलन जारी रहेगा। कहा,यह अधिवक्ताओं के मान सम्मान का संघर्ष है।
बार एसोसिएशन अध्यक्ष दीपक शर्मा ने बताया कि जब तक निहत्थे वकीलों पर बर्बरतापूर्ण लाठीचार्ज किए जाने के मामले में जिला जज अनिल कु मार दशम का निलंबन अथवा ट्रांसफर करने, लाठीचार्ज करने वाले पुलिस अधिकारियों व पुलिसजनों पर एफआईआर दर्ज करने की कार्यवाही नहीं की जाती तब तक वकीलों की बेमियादी कमलबंद हड़ताल जारी रहेगी तथा सभी अधिवक्ता न्यायिक कार्य के विरत रहेंगे। इसके अतिरिक्त पश्चिमी यूपी के 22 जिलों के बार एसोसिएशनों के पदाधिकारी भी आज शुक्रवार छह दिसंबर को गाजियाबाद आएंगे और उनके साथ आंदोलन को मजूबती प्रदान किए जाने को लेकर चर्चा की जाएगी।
प्रदेश के दो मंत्रियों और दो विधायको की स्थायी सदस्यता रद्द की
बार एसोशिएसन ने बृहस्पतिवार को कई प्रस्तावों पर मुहर लगाई। कहा गया कि चार नवंबर से बेमियादी हड़ताल चल रही है। इसको लेकर गाजियाबाद के विधायकों से सहयोग मांगा गया था, वे भी बार के सदस्य है। मगर उन्होंने सहयोग के लिए कोई जवाब नहीं दिया। इसके चलते बार एसोसिएशन को सख्त कदम उठाने को मजबूर होना पड़ा। विधायक विधानसभा साहिबाबाद सुनील शर्मा (इलेक्ट्रानिक एवं सूचना प्रोद्यौगिकी मंत्री), मुरादनगर विधायक अजीत पाल त्यागी, लोनी विधायक नंद किशोर गुर्जर तथा एमएलसी नरेंद्र कश्यप (राज्यमंत्री) को उनकी बार सदस्यता समाप्त किए जाने का नोटिस जारी किया गया कि तथा बार के चुनाव में मतदान के अधिकार से भी वंचित किया गया है।
इसके अतिरिक्त गाजियाबाद के बाहर के एनसीआर के अधिवक्ताओं को बार एसोसिएशन के निर्देशों की अवेहलना नहीं करने की हिदायत दी गई। कहा गया कि निर्देशों का उल्लंघन करने वाले अधिवक्ताओं की पांच साल के सदस्यता निलंबित कराने के लिए कार्रवाई की जाएगी। यह भी प्रस्ताव पारित किया गया कि जिले के तहसील संघ लोनी, मोदीनगर व सदर के अधिवक्ता रजिस्ट्री कार्य के विरत रहेंगे।यह प्रस्ताव भी पारित किया गया कि 14 दिसंबर को होने वाली लोक अदालत का भी बार एसोसिएसन बहिष्कार करेगी।
बता दें कि 29 अक्तूबर को जिला जज से नोकझोंक के बाद वकीलों पर लाठीचार्ज किया गया था। इसके बाद से बार एसोसिएशन ने अपनी मांगों को लेकर बेमियादी स्ट्राइक शुरू कर दी थी।